सामाजिक न्याय, अधिकारिता और अल्पसंख्यक विभाग द्वारा चलाई जा रही योजनाओं के बारे में अनुसूचित जातियों और पिछड़े वर्गों को जागरूक करने के लिए जिला स्तर पर शिविर लगाए जाएंगे ताकि अनुसूचित जातियों और पिछड़े वर्गों को अधिक से अधिक लाभ मिल सके। इस बात की जानकारी सामाजिक न्याय, अधिकारिता और अल्पसंख्यक मंत्री डॉ. बलजीत कौर ने आज सिविल सचिवालय में एस.सी./बी.सी. शिक्षक यूनियन पंजाब के साथ विभिन्न मुद्दों पर बैठक करते हुए दी।
बैठक के दौरान अतिरिक्त मुख्य सचिव सामाजिक न्याय, अधिकारिता और अल्पसंख्यक डी.के. तिवारी, निदेशक अमृत सिंह, निदेशक-कम-संयुक्त सचिव राज बहादुर सिंह और उप निदेशक रविंदरपाल सिंह के साथ यूनियन की मांगों पर विचार-विमर्श किया।
बैठक के दौरान एस.सी./बी.सी. शिक्षक यूनियन, पंजाब ने डॉ. बलजीत कौर को अपनी मांगों के बारे में अवगत कराया, जिसमें जनसंख्या के अनुसार आरक्षण लागू करने संबंधी, विभागीय भर्ती और पदोन्नति के दौरान ओपन मेरिट आरक्षित श्रेणी के उम्मीदवार (जनरल श्रेणी के मेरिट तक के सभी आरक्षित श्रेणी के उम्मीदवार) को रोस्टर नुक्तों पर आरक्षण में न गिनने, विभागीय भर्ती के दौरान आरक्षित श्रेणी के उम्मीदवारों को अंकों और आवेदन शुल्क में छूट देने, मेरिटोरियस स्कूलों में प्रवेश के समय आरक्षण लागू करने और शिक्षा बोर्ड द्वारा एस.सी. और बी.सी. छात्रों से ली जाने वाली परीक्षा फीस को बंद करके इसका भुगतान सामाजिक न्याय विभाग द्वारा करने की मांगें शामिल थीं। डॉ. बलजीत कौर ने यूनियन की मांगों को ध्यान से सुना और यूनियन के प्रतिनिधियों को आश्वासन दिया कि उनकी हर जायज़ मांग को पूरा किया जाएगा।
डॉ. बलजीत कौर ने बताया कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार अनुसूचित जातियों और पिछड़े वर्गों, अल्पसंख्यक वर्गों और आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों के कल्याण के लिए लगातार प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार का उद्देश्य अनुसूचित जाति और पिछड़े वर्गों के युवाओं की सामाजिक और आर्थिक स्थिति में सुधार लाना है। इस उद्देश्य की पूर्ति के लिए विभाग निरंतर काम कर रहा है।