कैबिनेट मंत्री लालचंद कटारूचक्क, मंत्री डॉ. रवजोत सिंह, मंत्री हरदीप सिंह मुंडिया और खरड़ हल्के से विधायक अनमोल गगन मान की अध्यक्षता में बुधवार को पंजाब भवन में नयागांव, कांसल और नाडा क्षेत्र के रहने वाले लोग पब्लिक हियरिंग में पहुंचे।
सुखना वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी के 3 किलोमीटर के दायरे में पंजाब के हिस्से में इको सेंसेटिव जोन घोषित किए जाने के प्रस्ताव पर मान सरकार ने फिलहाल पुनर्विचार करने का फैसला किया है।
कैबिनेट मंत्री लालचंद कटारूचक्क ने कहा कि इस संदर्भ में पंजाब सरकार सुप्रीम कोर्ट में प्रदेश के अन्य 13 वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी की तर्ज पर सुखना की वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी के 100 मीटर के दायरे में ही इको सेंसेटिव जोन बनाए जाने के मुद्दे पर अपना पक्ष मजबूती से रखेगा।
कैबिनेट मंत्री लालचंद कटारूचक्क, मंत्री डॉ. रवजोत सिंह, मंत्री हरदीप सिंह मुंडिया और खरड़ हल्के से विधायक अनमोल गगन मान की अध्यक्षता में बुधवार को पंजाब भवन में नयागांव, कांसल और नाडा क्षेत्र के रहने वाले लोग पब्लिक हियरिंग में पहुंचे।
इस दौरान मंत्रियों की अध्यक्षता में हुई बैठक में नयागांव और कांसल के लोगों ने सुखना वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी के 3 किलोमीटर के दायरे में इको सेंसेटिव जोन बनाए जाने के प्रस्ताव को खारिज किए जाने को लेकर अपना पक्ष रखा।
इस दौरान पंजाब भाजपा के मीडिया प्रभारी विनीत जोशी ने पंजाब के कैबिनेट मंत्रियों के सामने यह मुद्दा रखा कि सुखना की वाइल्ड लाइफ सैंक्चुरी की जमीन चंडीगढ़ प्रशासन को सॉइल कंजर्वेशन के लिए दी गई थी लेकिन चंडीगढ़ प्रशासन ने इस पर फॉरेस्ट एरिया का नोटिफिकेशन कर इसे वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी घोषित कर करीब 2300 एकड़ जमीन पर जो कि पंजाब की है उसे पर अवैध रूप से कब्जा कर लिया है। विनीत जोशी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में इस मामले में सुनवाई के दौरान पंजाब सरकार ने मजबूती से अपना पक्ष नहीं रखा जिसकी वजह से सुप्रीम कोर्ट ने सुखना के इर्द-गिर्द 100 मीटर के दायरे में इको सेंसेटिव जोन के प्रस्ताव को खारिज कर दिया था।